प्लेटफार्म पर खड़ी थी ट्रेन, धू-धूकर जलने लगी, सुलग गईं तीन बोगियां, आफत में यात्रियों की जान

आंध्र प्रदेश के विशाखापत्तनम रेलवे स्टेशन पर कोरबा विशाखापत्तनम एक्सप्रेस के तीन एसी कोच प्लेटफार्म पर पहुंचते ही देखते ही देखते सुलग गए. लोगों को कुछ समझ में ही नहीं आया कि ये हादसा कैसे हुआ. गनीमत ये रही कि वहां मौजूद लोगों ने आनन-फानन में रेस्क्यू ऑपरेशन चलाया और किसी तरह बड़े हादसे को टाल दिया.

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कोबरा-विशाखापत्तनम एक्सप्रेस पहुंची, अचानक ट्रेन की 3 बोगियां सुलग गईं. तीनों एसी कोच थे और आग की चपेट में आ गए. आग एसी कोच के पास लगी, जिसके बाद वहां मौजूद आग बुझाने में लग गए. गनीमत बस इतनी रही कि आग लगने की वजह से कोई गंभीर रूप से झुलसा नहीं है और लोगों को बाहर निकाल लिया गया है. यह ट्रेन, कोरबा से आकर, तिरुपति के लिए रवाना होने वाली थी. एक अधिकारी ने कहा कि जिन यात्रियों की यात्रा, इस हादसे की वजह से बाधित हुई है, उनके लिए वैकल्पिक व्यवस्था की जा रही है. 

यह एक्सप्रेस ट्रेन, कोरबा से तिरुमाला जा रही थी. एम1, बी7 और बी6 बोगियां आग की चपेट में आई हैं. रेलवे के दमकलकर्मी आग पर काबू पाने के लिए जी-जान से जुटे हैं. अभी तक किसी के जानमाल के नुकसान होने की कोई खबर नहीं है.

स्थानीय मीडिया रिपोर्ट्स में दावा किया जा रहा है कि टॉयलेट में शॉर्ट सर्किट कीव जह से आग लगी और देखते ही देखते तीन बोगियों में आग फैल गई. हादसे के वक्त ट्रेन में कोई यात्री नहीं था. रेलवे कर्मचारी किसी तरह वहां पहुंचे, जिसके बाद आग पर आनन-फानन में काबू पाया जा सका. तीनों बोगियां राख हो चुकी हैं. 

लगातार हो रहे ट्रेन हादसे, विपक्ष के निशाने पर रेलमंत्री

लगातार रेल हादसों की वजह से रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव पहले से ही विपक्ष के निशाने पर हैं. बीते 6 हफ्तों में ट्रेन हादसों में कुल 17 लोग जान गंवा चुके हैं. हाल ही में झारखंड में रेल हादसा हुआ था. मुंबई हावड़ा मेल के 18 डिब्बे पटरी से उतर गए थे. हादसे में करीब 2 लोगों की मौत हुई थी, कई घायल हुए थे. बीते 3 साल में 131 रेल हादसे हो चुके हैं. हर हादसे में एक सबक लेकने की बात की जाती है, पता चलता है कि कुछ दिन बाद एक और हादसा हो जाता है. बीते तीन साल में हर महीने कहीं न कहीं 2 पैजेंजर ट्रेन और 1 मालगाड़ी डिरेल हुई है.