'महिलाओं के आंसू दिखते हैं, मर्द का दर्द नहीं...' ज्योति सिंह के आरोपों पर पवन सिंह का पलटवार, देखें वीडियो

Pawan Singh Video: भोजपुरी स्टार और राजनेता पवन सिंह ने अपनी पत्नी ज्योति सिंह के आरोपों पर पहली बार खुलकर अपना रिएक्शन दिया है. उन्होंने कहा कि 'महिलाओं के आंसू सबको दिखते हैं, लेकिन मर्द का दर्द कोई नहीं देखता.' पवन ने पत्नी पर राजनीतिक फायदा उठाने का भी आरोप लगाया.

X
Babli Rautela

Pawan Singh Video: बिहार विधानसभा चुनाव 2025 की तारीखों की घोषणा के दिन भोजपुरी एक्टर और सिंगर पवन सिंह की पत्नी ज्योति सिंह ने उनके घर के बाहर हंगामा किया था. ज्योति ने पवन पर मानसिक उत्पीड़न और धोखाधड़ी के आरोप लगाए. इस पूरे मामले ने सोशल मीडिया पर तूल पकड़ लिया, जहां दोनों की लाइव स्टोरीज़, पोस्ट और बयानबाजी वायरल हो गई है.

पवन सिंह ने मीडिया से बातचीत के दौरान कहा, 'यह एक पारिवारिक मामला है. हमारा तलाक केस 3-4 साल से चल रहा है. मुझे राजनीति में आने के कारण जानबूझकर विवादों में घसीटा जा रहा है.' उन्होंने साफ कहा कि ज्योति सिंह का यह सारा ड्रामा राजनीतिक एजेंडे से जुड़ा है ताकि चुनाव के वक्त उन्हें बदनाम किया जा सके.

पत्नी के आरोप के बाद पवन सिंह का बयान

प्रेस कॉन्फ्रेंस में पवन भावुक होते हुए बोले, 'मैं भी इंसान हूं, मैं भी थक जाता हूं. औरतों की आंखों में आंसू आते हैं तो सबको दिखता है, लेकिन मर्द का दर्द कोई नहीं देखता. मर्द रो नहीं सकता, बस सहता रहता है.' उन्होंने यह भी कहा कि जो लोग उनके निजी विवाद का मजा ले रहे हैं, वे भूल रहे हैं कि 'जानी-पहचानी बातें कैमरे पर नहीं, घर के अंदर सुलझनी चाहिए.'

पवन सिंह ने कहा कि उनकी पत्नी ज्योति सिंह जानबूझकर चुनाव से ठीक पहले विवाद खड़ा कर रही हैं, ताकि उनके राजनीतिक करियर को नुकसान पहुंचाया जा सके. उन्होंने यह भी कहा कि वह अदालत में चल रहे मामले का सम्मान करते हैं, लेकिन मीडिया ट्रायल से उन्हें और उनके परिवार को गहरा आघात पहुंचा है.

ज्योति सिंह के आरोप क्या हैं?

ज्योति सिंह ने पवन सिंह पर मानसिक उत्पीड़न, धोखा और वैवाहिक वादों से मुकरने जैसे आरोप लगाए हैं. उन्होंने कहा कि पवन सिंह ने शादी के बाद उन्हें न केवल नजरअंदाज किया, बल्कि राजनीतिक फायदा उठाने के लिए उनकी छवि का इस्तेमाल किया. सोशल मीडिया पर यह मुद्दा गर्माया हुआ है. कुछ लोगों ने पवन सिंह के 'मर्द का दर्द' वाले बयान को भावनात्मक और सच्चा बताया, जबकि कुछ ने इसे नाटकीय और सहानुभूति पाने की कोशिश कहा.