menu-icon
India Daily

अक्टूबर में UPI की बनी दिवाली, ट्रांजेक्शन का बना डाला नया रिकॉर्ड, लाइफटाइम हाई पर पहुंचा डिजिटल पेमेंट

अक्टूबर में UPI लेनदेन रिकॉर्ड स्तर पर पहुंच गया है. इस महने कुल 20.7 अरब लेनदेन हुए, जिसमें 27.28 लाख करोड़ रुपये का ट्रांजेक्शन हुआ है. इस लेनदेन में त्योहारों की खरीददारी का बड़ा योगदान रहा.

auth-image
Edited By: Kuldeep Sharma
upi india daily
Courtesy: social media

नई दिल्ली: भारत में डिजिटल भुगतान लगातार नई ऊंचाइयों को छू रहा है. अक्टूबर महीने में उत्सवों की खरीददारी ने Unified Payments Interface (UPI) को इतिहास बनाने का मौका दिया है. 

National Payments Corporation of India (NPCI) के आंकड़ों के अनुसार, इस दौरान UPI लेनदेन का कुल मूल्य 27.28 लाख करोड़ रुपये और कुल ट्रांजेक्शन 20.7 अरब तक पहुंचा. यह सितंबर के मुकाबले 9.5 प्रतिशत अधिक और पिछले साल अक्टूबर के मुकाबले 16 प्रतिशत अधिक है.

उत्सवों का असर और रोजाना लेनदेन

अक्टूबर में UPI लेनदेन में तेजी का मुख्य कारण त्योहारों की खरीददारी रहा. औसतन 668 मिलियन लेनदेन प्रतिदिन दर्ज किए गए, जिनका दैनिक औसत मूल्य 87,993 करोड़ रुपये रहा. यह आंकड़ा दर्शाता है कि भारत में डिजिटल भुगतान कितनी गहराई से लोगों की जिंदगी में समाहित हो चुका है. विशेषज्ञों का मानना है कि त्योहारों के समय में बढ़ते लेनदेन ने UPI की विश्वसनीयता और क्षमता को साबित किया.

मासिक और वार्षिक वृद्धि दर

सितंबर 2025 में UPI लेनदेन 24.9 लाख करोड़ रुपये था, जबकि अक्टूबर में यह 27.28 लाख करोड़ रुपये हो गया, जो 9.5 प्रतिशत की मासिक वृद्धि है. वहीं अक्टूबर 2023 के 23.49 लाख करोड़ रुपये के मुकाबले यह 16 प्रतिशत अधिक है. इससे पता चलता है कि भारतीय उपभोक्ता और व्यापारी डिजिटल लेनदेन को तेजी से अपना रहे हैं.

वैश्विक प्रभुत्व और विस्तार

UPI अब भारत में सभी डिजिटल लेनदेन का 85 प्रतिशत संचालित करता है. वहीं ग्लोबल रियल टाइम डिजिटल भुगतान का लगभग आधा हिस्सा संभालता है. यह भारत की फिनटेक क्षेत्र में बढ़ती शक्ति का प्रतीक है. UPI पहले से सात देशों में लाइव है- संयुक्त अरब अमीरात, सिंगापुर, भूटान, नेपाल, श्रीलंका, फ्रांस और मॉरीशस. फ्रांस में इसका विस्तार यूरोप में पहला कदम माना जा रहा है.

NPCI और डिजिटल भुगतान ढांचा

NPCI, जो RBI और Indian Banks’ Association की पहल है, भारत में रिटेल भुगतान और सेटलमेंट सिस्टम को संचालित करता है. UPI के माध्यम से ग्राहक आपसी भुगतान और दुकानदारों के साथ वास्तविक समय लेनदेन कर सकते हैं. यह ढांचा भारतीय अर्थव्यवस्था में डिजिटल भुगतान के विस्तार को मजबूत कर रहा है.

भविष्य और संभावनाएं

विशेषज्ञों का मानना है कि UPI की निरंतर वृद्धि भारतीय वित्तीय प्रणाली में डिजिटल अपनाने की दिशा में एक बड़ा कदम है. भविष्य में और अधिक देशों में विस्तार, तेज और सुरक्षित लेनदेन की सुविधा प्रदान करेगा. भारतीय उपभोक्ता अब विश्व स्तर पर भी सहज भुगतान कर सकते हैं, जिससे भारत की डिजिटल साख और मजबूती बढ़ रही है.