आपके अकाउंट से Toll काटने के लिए FASTag करती है इस तकनीक का इस्तेमाल, जानकर उड़ जाएंगे होश
क्या आप यह जानते हैं कि FASTag ऑटोमैटिक पेमेंट काटने के लिए किस तकनीक का इस्तेमाल करता है? अगर नहीं जानते हैं तो चलिए बताते हैं इसके बारे में सबकुछ
FASTag के बारे में तो आप सभी न सुना होगा. FASTag भारत में एक इलेक्ट्रॉनिक टोल कलेक्शन सिस्टम है जो नेशनल अथॉरिटी ऑफ इंडिया द्वारा चलाया जाता है. यह ऑटोमैटिक टोल पेमेंट ले लेता है. यह तो आप जानते ही होंगे, लेकिन क्या आप यह जानते हैं कि FASTag ऑटोमैटिक पेमेंट काटने के लिए किस तकनीक का इस्तेमाल करता है?
FASTag किस तकनीक का करता है इस्तेमाल:
FASTag टोल पेमेंट के लिए रेडियो-फ्रीक्वेंसी आइडेंटिफिकेशन (RFID) टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल करता है. इसकी मदद से FASTag अकाउंट से पैसे अपने आप कट जाते हैं. गाड़ी चलते हुए भी इस तकनीक के जरिए पेमेंट कट जाता है. यह एक ऐसी तकनीक है जो टैग (या RFID डिवाइस) और रीडर के बीच वायरलेस तरीके से डाटा ट्रांसमिट करने के लिए रेडियो वेब्स का इस्तेमाल करती है.
सबसे बता दें कि FASTag (RFID Tag) व्हीकल के विंडस्क्रीन पर लगा होता है और यह कस्टमर के टोल पेमेंट को FASTag के लिंक्ड अकाउंट से काट लेता है. RFID सिस्टम के दो मुख्य कंपोनेंट्स होते हैं जिसमें से एक RFID टैग और दूसरा RFID रीडर होता है.
RFID Tag:
RFID टैग एक छोटी इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस है जिसमें एक माइक्रोचिप और एक एंटीना होता है. माइक्रोचिप डाटा स्टोर करता है और एंटीना रेडियो वेब्स के जरिए RFID रीडर के साथ कम्यूनिकेशन करता है. RFID टैग पैसिव, एक्टिव या सेमी-पैसिव हो सकते हैं.
पैसिव RFID टैग का अपना खुद का सोर्स नहीं होता है. यह डाटा ट्रांसफर करने के लिए RFID रीडर की इलेक्ट्रोमैग्नेटिक एनर्जी पर ही निर्भर होते हैं. ये टैग्स किफायती होते हैं और एक्टिव RFID टैग्स के मुकाबले ज्यादा दिन तक चलते हैं. इनकी कम्यूनिकेशन रेंज बहुत ज्यादा नहीं होती है.
एक्टिव RFID टैग का अपना पावर सोर्स होता है जिससे जानकारी को RFID रीडर तक ट्रांसफर किया जाता है. RFID टैग गाड़ी पर लगा होता है. यह गाड़ी की पहचान करने में काम आता है. इन टैग्स में आमतौर पर छोटी बैटरियां होती हैं जिन्हें समय-समय पर बदलने की जरूरत पड़ती है. एक्टिव RFID टैग का बेनिफिट यह होता है कि इनकी रेंज दूर तक होती है.
सेमी-पैसिव RFID टैग्स में बैटरीज होती है लेकिन यह RFID रीडर से कम्यूनिकेट करने के लिए इलेक्ट्रोमैग्नेटिक एनर्जी का ही इस्तेमाल करता है. यह साइज और दिखने में काफी हद तक पैसिव टैग्स की तरह होता है. हालांकि, इनकी कम्यूनिकेशन रेंज ज्यादा होती है क्योंकि इनमें इन-बिल्ट बैटरीज होती हैं.
RFID Reader:
RFID रीडर एक डिवाइस है जो रेडियो फ्रीक्वेंसी सिग्नल भेजता है और RFID टैग से सिग्नल रिसीव करता है. यह रीडर RFID टैग पर जो डाटा स्टोर किया जाता है उसे कैप्चर करता है. RFID रीडर को फिक्स्ड भी किया जा सकता है और अपने पास फिजिकल तौर पर भी रखा जा सकता है.