दिल्ली AIIMS में दा विंची रोबोट की धमाकेदार एंट्री, रोबोटिक सर्जरी करने वाला बना पहला सरकारी कॉलेज, जानें सारी डिटेल्स

Delhi AIIMS: एम्स दिल्ली अब भारत का एकमात्र सरकारी संस्थान है, जो प्रशिक्षण के लिए दो सर्जिकल रोबोट्स से लैस है. दा विंची रोबोट के उपयोग से यूरोलॉजी, स्त्री रोग, ऑन्कोलॉजी, सामान्य सर्जरी और सिर व गर्दन की सर्जरी जैसे क्षेत्रों में प्रशिक्षण को नए आयाम मिलेंगे.

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Anubhaw Mani Tripathi

Delhi AIIMS: इस समय दुनिया तकनीक के मामले में बहुत आगे बढ़ चुकी है. अब तक आपने होटलों में रोबोट काम करते देखे होंगे और कुछ मशीनें ऐसी भी देखी होंगी जो  वेटर का काम करती हैं. लेकिन अगर मैं कहूँ कि अब भारत के सरकारी अस्पतालों में भी रोबोटिक सर्जरी की जा सकेगी, तो क्या आप यकीन करेंगे? लेकिन ये सच है.

दरसअल, दिल्ली स्थित अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (AIIMS) ने एक ऐतिहासिक कदम उठाते हुए अपने कौशल, ई-लर्निंग और टेलीमेडिसिन (SET) केंद्र में दा विंची सर्जिकल रोबोट स्थापित किया है. यह भारत में पहली बार है जब किसी सरकारी चिकित्सा संस्थान ने प्रशिक्षण के लिए इंट्यूटिव सर्जिकल के दा विंची सिस्टम को अपनाया है. इस पहल से चिकित्सा शिक्षा और स्वास्थ्य सेवाओं में क्रांति आने की उम्मीद है.

रोबोटिक सर्जरी प्रशिक्षण में क्रांति

एम्स दिल्ली अब भारत का एकमात्र सरकारी संस्थान है, जो प्रशिक्षण के लिए दो सर्जिकल रोबोट्स से लैस है. दा विंची रोबोट के उपयोग से यूरोलॉजी, स्त्री रोग, ऑन्कोलॉजी, सामान्य सर्जरी और सिर व गर्दन की सर्जरी जैसे क्षेत्रों में प्रशिक्षण को नए आयाम मिलेंगे. यह तकनीक मेडिकल छात्रों और पेशेवर सर्जनों को अत्याधुनिक सर्जिकल तकनीकों का व्यावहारिक अनुभव प्रदान करेगी, जिससे उनकी विशेषज्ञता में वृद्धि होगी.

विदेशी प्रशिक्षण की आवश्यकता खत्म

पहले रोबोटिक सर्जरी में प्रशिक्षण के लिए सर्जनों को विदेश जाना पड़ता था,जिसमें भारी खर्च और समय लगता था. अब,एम्स दिल्ली के SET केंद्र में यह सुविधा उपलब्ध होने से भारतीय स्वास्थ्य पेशेवर बिना विदेश जाए विश्वस्तरीय प्रशिक्षण प्राप्त कर सकेंगे. यह भारत में रोबोटिक-सहायता प्राप्त सर्जरी को बढ़ावा देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा.

सटीकता और रोगी लाभ

एम्स दिल्ली के निदेशक ने बताया कि यह प्रशिक्षण केंद्र सर्जनों को अत्यधिक सटीकता के साथ सर्जरी करने में सक्षम बनाएगा. इससे रोगियों का रिकवरी समय कम होगा और उपचार के परिणाम बेहतर होंगे. उन्होंने कहा, “यह केंद्र शल्य चिकित्सा शिक्षा और नवाचार में एम्स की अग्रणी स्थिति को और मजबूत करेगा.”

दा विंची रोबोट की स्थापना के साथ, एम्स दिल्ली ने भारत में चिकित्सा शिक्षा और स्वास्थ्य सेवाओं में एक नया अध्याय शुरू किया है. यह पहल न केवल सर्जनों को सशक्त बनाएगी, बल्कि मरीजों को भी उन्नत उपचार का लाभ देगी.