नई दिल्ली: शिवसेना (UBT) के वरिष्ठ नेता और सांसद संजय राउत ने सोमवार को महाराष्ट्र सरकार पर तीखा हमला किया. संजय राउत ने देवेंद्र फडणवीस, एकनाथ शिंदे और अजित पवार पर नगर परिषद चुनाव में मतदाताओं को पैसे बांटने का गंभीर आरोप लगाया है.
राउत ने आरोप लगाया कि इस दौरान लगभग 15 हजार करोड़ रुपये खर्च किए गए और पैसों को पानी की तरह बहाया गया. उन्होंने यह भी कहा कि एकनाथ शिंदे यह दावा कर रहे हैं कि उनकी शिवसेना ही असली है, जबकि चुनाव चिन्ह और पार्टी का मामला अभी सुप्रीम कोर्ट में लंबित है. राउत का कहना है कि कोर्ट इस पर फैसला नहीं दे रहा, क्योंकि उस पर दबाव है.
महाराष्ट्र में सत्तारूढ़ महायुति गठबंधन ने रविवार को नगर परिषद और नगर पंचायत के चुनाव में शानदार जीत दर्ज की. कुल 288 स्थानीय निकायों में से महायुति गठबंधन ने 207 नगर अध्यक्ष के पद अपने नाम किए. सत्तारूढ़ महायुति गठबंधन में भाजपा, शिवसेना और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (अजित पवार गुट) शामिल है.
वहीं, विपक्ष महाविकास आघाड़ी (MVA) केवल 44 सीटों पर सिमट गई। राज्य निर्वाचन आयोग ने रविवार रात अंतिम आंकड़े जारी किए. राज्य निर्वाचन आयोग के अनुसार, बीजेपी ने नगर अध्यक्ष के 117 पदों पर जीत हासिल की, शिवसेना ने 53 और राकांपा ने 37 सीटें जीती.
एमवीए के घटक दलों का प्रदर्शन बहुत कमजोर रहा. कांग्रेस के खाते में 28 सीटें गई, एनसीपी (एसपी) ने 7 और शिवसेना (UBT) ने 9 नगर अध्यक्ष पदों पर जीत दर्ज की. इसके अलावा पंजीकृत अन्य पार्टियों ने 4 सीटें जीतीं और गैर मान्यता प्राप्त पंजीकृत दलों ने 28 सीटों पर कब्जा किया. निर्दलीय उम्मीदवारों को कुल 5 सीटें मिलीं. महाराष्ट्र के नगर निकाय चुनाव में महायुति गठबंधन ने स्पष्ट बहुमत हासिल किया, जबकि MVA का प्रदर्शन कमजोर और सीमित रहा.
चुनाव नतीजों के बाद विपक्षी दलों में निराशा साफ नजर आई. कांग्रेस और शिवसेना यूबीटी ने परोक्ष रूप से हार स्वीकार करते हुए चुनाव आयोग और ईवीएम पर सवाल खड़े किए. प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष हर्षवर्धन सपकाल ने पार्टी के विजयी उम्मीदवारों को बधाई देते हुए एक संक्षिप्त टिप्पणी में राज्य चुनाव निकाय को सत्ताधारी गठबंधन की मदद के लिए जिम्मेदार ठहराया.