SC Hearing On Waqf: वक्फ एक्ट पर आज सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई से पहले गरमाई सियासत, पक्ष-विपक्ष आमने-सामने

Waqf Amendment Act: संसद द्वारा स्वीकृत वक्फ संशोधन कानून पर आज सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई शुरू हो रही है. इस पर 10 याचिकाएं दायर की गई हैं और फैसले को लेकर धमकियां भी मिल रही हैं.

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Ritu Sharma

Supreme Court Hearing On Waqf: वक्फ (संशोधन) अधिनियम 2025 को लेकर देशभर में मचा राजनीतिक बवाल अब सुप्रीम कोर्ट की चौखट पर है. बुधवार को सुप्रीम कोर्ट इस कानून की संवैधानिक वैधता को चुनौती देने वाली कुल 10 याचिकाओं पर दोपहर 2 बजे सुनवाई करेगा. मुख्य न्यायाधीश संजीव खन्ना, जस्टिस संजय कुमार और जस्टिस केवी विश्वनाथन की खंडपीठ इस सुनवाई को अंजाम देगी. याचिकाकर्ताओं में AIMIM प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी सहित कई बड़े नेता और संगठन शामिल हैं.

धमकियों से बिगड़ता माहौल

बता दें कि सुनवाई से पहले ही देश के कई हिस्सों में विवादित बयानबाजी और धमकियां तेज़ हो गई हैं. पश्चिम बंगाल के उत्तर दिनाजपुर में अखिल भारतीय इमाम संघ के एक स्थानीय नेता का वीडियो सामने आया है, जिसमें वह साफ कहता है, ''अगर सुप्रीम कोर्ट का फैसला हमारे पक्ष में नहीं आता, तो हम पूरे भारत को ठप कर देंगे. ट्रेन, कार, सड़क, गांव सब कुछ बंद कर देंगे.''

सुवेंदु अधिकारी का सवाल – FIR क्यों नहीं?

वहीं इसको लेकर बीजेपी नेता सुवेंदु अधिकारी ने इस पर कड़ी प्रतिक्रिया देते हुए कहा, ''ये लोग खुलेआम सुप्रीम कोर्ट को धमकी दे रहे हैं और कानून व्यवस्था की धज्जियां उड़ा रहे हैं. लेकिन पुलिस चुप है, कोई कार्रवाई नहीं कर रही. ममता बनर्जी ऐसे लोगों के साथ मंच साझा कर रही हैं.''

जमीयत ने बताया वक्फ कानून को असंवैधानिक

बताते चले कि जमीयत उलेमा-ए-हिंद के अध्यक्ष अरशद मदनी ने कहा, ''यह कानून वक्फ व्यवस्था के लिए विनाशकारी है. हमने सुप्रीम कोर्ट से इस कानून को रद्द करने और अंतरिम राहत देने की मांग की है. वरिष्ठ वकील कपिल सिब्बल जमीयत की ओर से पैरवी करेंगे.''

असम में भी विरोध प्रदर्शन

वक्फ संशोधन अधिनियम के खिलाफ असम के सोनितपुर जिले में मुस्लिम समुदाय ने ज़बरदस्त प्रदर्शन किया. NEMSU की अगुवाई में 5000 से ज्यादा लोगों ने कानून को खारिज करने की मांग की. संगठन के प्रमुख बदरुल इस्लाम ने कहा, ''हम इस कानून को नहीं मानेंगे और विरोध जारी रहेगा.''

शंकराचार्य ने मांगा राष्ट्रपति शासन

इसके अलावा, शंकराचार्य अविमुक्तेश्वरानंद ने ममता सरकार पर निशाना साधते हुए कहा, ''बंगाल में हालात बेकाबू हो रहे हैं. ममता बनर्जी ऐसे उग्र नेताओं के साथ खड़ी हैं, इसलिए केंद्र सरकार को उनकी सरकार बर्खास्त कर राष्ट्रपति शासन लगाना चाहिए.''