Keral News: केरल की नर्सों को अपनी मेहनत के लिए हमेशा सराहा गया है, लेकिन अब उनका नाम एक चौंकाने वाले धोखाधड़ी कांड में सामने आया है. दरअसल, 1495 नर्सों ने कुवैत में स्थित एक ग़ल्फ बैंक से 700 करोड़ रुपये से ज्यादा का लोन ठग लिया. इन नर्सों ने सैलरी सर्टिफिकेट्स को गारंटी के रूप में पेश किया और फिर बिना लोन चुकाए, कई देशों में भाग गईं, जिनमें कनाडा, ऑस्ट्रेलिया, यूके और यूरोप के कुछ हिस्से शामिल हैं.
यह धोखाधड़ी एक सुसंगठित योजना का हिस्सा नजर आ रही है. चूंकि, नर्सों ने शुरू में छोटे लोन लिए और उन्हें समय पर चुका दिया, जिससे बैंक का विश्वास जीता. इसके बाद, उन्होंने बड़े लोन ले लिए और बैंक को गुमराह किया. जब बैंक ने इन लोन की अदायगी की उम्मीद की, तब तक नर्सें देश छोड़ चुकी थीं.
Kerala’s nurses long celebrated for their efficiency, now making headlines for international loan fraud!
— Nabila Jamal (@nabilajamal_) December 9, 2024
In a shocking scam, 1495 nurses working in Kuwait defrauded a Gulf bank of INR 700 Crs, using salary certificates as guarantees. They've fled to countries like Canada,… pic.twitter.com/PHtHfK7xdi
केरल पुलिस ने शुरू की जांच
इस धोखाधड़ी का खुलासा होने के बाद, कई नर्सों ने केरल में महंगे घर भी खरीदे हैं, जिससे स्थानीय अधिकारियों और बैंकों में हड़कंप मच गया है. जिसके बाद इस घोटाले को लेकर केरल पुलिस ने गंभीरता से जांच शुरू कर दी है. अंतर्राष्ट्रीय एजेंसियों की मदद से अब तक 8 लोगों को गिरफ्तार किया गया है. फिलहाल, केरल पुलिस का मानना है कि यह एक सुनियोजित साजिश है, जिसमें कई अन्य लोग भी शामिल हो सकते हैं.
अब तक 10 लोगों के खिलाफ FIR दर्ज
अब तक केरल में कुवैती नागरिक मोहम्मद अब्दुल वासी, गल्फ बैंक के उप महाप्रबंधक द्वारा दर्ज कराई गई शिकायतों के आधार पर 10 लोगों के खिलाफ मामले दर्ज किए गए हैं, जिन्होंने स्वास्थ्य मंत्रालय (एमओएच) के साथ काम करते हुए ऋण लिया और ऋण चुकाए बिना देश से बाहर चले गए.
कैसे हुआ यह धोखाधड़ी?
केरल में बैंक का प्रतिनिधित्व कर रहे अधिवक्ता थॉमस जे अनक्कल्लुमकल के अनुसार, "इनमें से अधिकांश नर्सों ने पहले ऋण लिया था और उन्हें तुरंत चुका दिया था. हालांकि, जब यूरोप, ऑस्ट्रेलिया और कनाडा में चिकित्सकों की मांग में उछाल आया, तो उन्होंने बैंक से भारी ऋण लिया और हरियाली वाले चरागाहों की ओर पलायन कर गए. फिर उन्होंने लोन चुकाने पर रोक लगा दी. इस मामले में बैंक ने धोखाधड़ी में शामिल केरल की 1,425 नर्सों की पहचान की है।. थॉमस ने कहा कि चूंकि वे कुवैत में नहीं थे, इसलिए बैंक आगे कोई कार्रवाई नहीं कर सका.
अब तक 10 लोन डिफॉल्टर्स की हुई पहचान
थॉमस ने कहा, "कंपनी ने 10 ऐसे लोन डिफॉल्टर्स की पहचान की है जो इस समय केरल में हैं. पुलिस ने उनके खिलाफ एफआईआर दर्ज की है. नर्सों में से एक केरल लौट आई है, उसने कोच्चि में एक आलीशान अपार्टमेंट खरीदा है और यहां एक अस्पताल में काम करती है. हम और नर्सों की पहचान करने की प्रक्रिया में हैं. आगे और भी एफआईआर दर्ज की जाएंगी.
ग़ल्फ बैंकिंग सिस्टम में सामने आईं खामियां
यह धोखाधड़ी न केवल केरल की नर्सों की छवि को धक्का पहुंचाती है, बल्कि यह गल्फ क्षेत्र के बैंकिंग सिस्टम में भी खामियों को उजागर करती है. बैंकिंग प्रबंधन के तहत यह देखा गया है कि कैसे बैंक ने नर्सों को बिना गहरी जांच किए लोन जारी किए और उनका धोखाधड़ी का शिकार बनने दिया.