कैश कांड में फंसे जस्टिस यशवंत वर्मा के खिलाफ महाभियोग प्रस्ताव स्वीकार, लोकसभा स्पीकर ने आरोपों की जांच के लिए कमेटी का किया गठन

कैश कांड में घिरे हाईकोर्ट के जस्टिस वर्मा के खिलाफ आरोपों की जांच के लिए लोकसभा स्पीकर ओम बिरला ने तीन सदस्यीय कमेटी का गठन किया है. इस मामले की जांच करने वाली कमेटी में एक सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस, एक हाईकोर्ट के जस्टिस और एक कानूनविद को शामिल किया गया है.

Hemraj Singh Chauhan

जस्टिस यशवंत वर्मा के खिलाफ महाभियोग प्रस्ताव को स्वीकार कर लिया गया. लोकसभा स्पीकर ओम बिरला ने कैश कांड में घिरे हाईकोर्ट के जस्टिस वर्मा के खिलाफ आरोपों की जांच के लिए तीन सदस्यीय कमेटी का गठन किया है. इस मामले की जांच करने वाली कमेटी में एक सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस, एक हाईकोर्ट के जस्टिस और एक कानूनविद को शामिल किया गया है.

लोकसभा स्पीकर ने तीन सदस्यीय पैनल में जिन तीन लोगों को शामिल किया है. उनमें सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस अरविंद कुमार, मद्रास हाईकोर्ट के जस्टिस महेंद्र मोहन श्रीवास्तव और कानूनविद बीवी आर्चाय हैं. आप जानते हैं कि जस्टिस वर्मा के खिलाफ महाभियोग चलाने के लिए 146 सांसदों द्वारा हस्ताक्षर वाला प्रस्ताव लोकसभा स्पीकर को सौंपा गया था. मंगलवार को ओम बिरला ने इस प्रस्ताव को स्वीकार कर लिया गया.

जस्टिस वर्मा की मुश्किलें क्यों बढ़ीं?

नियमों के मुताबिक लोकसभा और राज्यसभा में मौजूद सांसदों में से कम दो-तिहाई सदस्यों को न्यायाधीश पर महाभियोग चलाने के पक्ष में मतदान करना होगा. इस मामले में जस्टिस वर्मा के खिलाफ महाभियोग चलने की संभावना काफी ज्यादा हैं क्योंकि सत्ता और विपक्ष दोनों ही इस पर सहमत हैं.

सुप्रीम कोर्ट ने जस्टिस वर्मा की याचिका की थी खारिज

सुप्रीम कोर्ट ने हाल ही में जस्टिस वर्मा की याचिका को खारिज कर दिया था. जस्टिस वर्मा ने आंतरिक जांच रिपोर्ट और तत्कालीन मुख्य न्यायाधीश द्वारा राष्ट्रपति को उन्हें हटाने की सिफारिश को देश की सर्वोच्च अदालत में चुनौती दी थी. 14 मार्च को दिल्ली स्थित जस्टिस वर्मा के आधिकारिक आवास में आग लगने के समय लगभग डेढ़ फीट से ज्यादा ऊंची नकदी के ढेर मिले थे. उस समय जज अपने आवास पर नहीं थे.