मनाली में जिपलाइन बेल्ट टूटने के बाद उठे कई सवाल, भारत में कितने सुरक्षित हैं एडवेंचर स्पोर्ट्स?

परिवार का कहना है कि जिपलाइन केंद्र पर पर्याप्त सुरक्षा इंतजाम नहीं थे और हादसे के बाद तत्काल सहायता भी नहीं मिली.

Imran Khan claims

हिमाचल प्रदेश के मनाली में गर्मी की छुट्टियों के दौरान नागपुर के एक परिवार की खुशियां उस समय मातम में बदल गईं, जब उनकी 10 वर्षीय बेटी त्रिशा बिजवे एक जिपलाइन हादसे में गंभीर रूप से घायल हो गई. 8 जून को त्रिशा उस समय लगभग 30 फीट नीचे खाई में गिर गई, जब जिपलाइन की रस्सी अचानक बीच हवा में टूट गई. यह हादसा मनाली के एक पर्यटक जिपलाइन केंद्र पर हुआ, जहां बिजवे परिवार छुट्टियां मना रहा था. 

पैर में हुए कई फ्रैक्चर

हादसे में त्रिशा के पैर में कई जगह फ्रैक्चर हो गए. परिवार का कहना है कि जिपलाइन केंद्र पर पर्याप्त सुरक्षा इंतजाम नहीं थे और हादसे के बाद तत्काल सहायता भी नहीं मिली. परिवार ने हादसे का एक वीडियो साझा किया, जिसमें रस्सी टूटने का क्षण साफ दिखाई देता है. उन्होंने जिपलाइन संचालकों से जवाबदेही और साहसिक पर्यटन स्थलों पर बेहतर सुरक्षा नियम लागू करने की मांग की है. 

परिवार बोला बच्ची की हालत गंभीर

हादसे के बाद त्रिशा को पहले मनाली में प्राथमिक उपचार दिया गया, फिर उसे चंडीगढ़ के एक अस्पताल में भर्ती किया गया. वर्तमान में वह नागपुर के एक निजी अस्पताल में उपचाररत है. परिवार ने बताया कि बच्ची की हालत अभी भी गंभीर बनी हुई है. 

भारत में एडवेंचर स्पोर्ट्स की स्थिति
यह घटना भारत में साहसिक पर्यटन की सुरक्षा पर व्यापक बहस छेड़ रही है. कई यूजर्स ने सोशल मीडिया पर लिखा, “भारत में एडवेंचर ज़्यादातर मामलों में व्यावसायिकता की कमी और ऑपरेटरों द्वारा सुरक्षा प्रोटोकॉल का पालन न करने के कारण एक दुस्साहस बन जाता है.” सरकार और पर्यटन उद्योग को कड़े नियम और नियमित जांच लागू करने की जरूरत है ताकि भविष्य में ऐसी घटनाएं न हों.

 

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