खेल मंत्री अरूप बिस्वास ने दिया इस्तीफा, सॉल्ट लेक स्टेडियम में आयोजित मेसी के कार्यक्रम में हुई अराजकता को लेकर उठ रहे थे सवाल
पश्चिम बंगाल से इस समय बड़ी खबर सामने आई है. राज्य के खेल मंत्री अरूप बिस्वास ने इस्तीफा दे दिया है.
कोलकाता: पश्चिम बंगाल से इस समय बड़ी खबर सामने आई है. राज्य के खेल मंत्री अरूप बिस्वास ने इस्तीफा दे दिया है. सॉल्ट लेक स्टेडियम में आयोजित दिग्गज फुटबॉलर लियोनल मेसी के कार्यक्रम में फैली अराजकता को लेकर खेल मंत्री अरूप बिस्वास की भूमिका पर लगातार सवाल उठ रहे थे. ऐसे कयास लगाए जा रहे है कि इसी माहौल को देखते हुए यह बड़ कदम उठाया गया है.
3 सदस्यीय जांच आयोग का गठन
पश्चिम बंगाल सरकार ने युवा भारती (सॉल्ट लेक) स्टेडियम में लियोनल मेसी के आगमन के दौरान हुई अव्यवस्था की जांच के लिए तीन सदस्यीय जांच आयोग बनाया है. इस आयोग का गठन मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने किया है और इसकी अध्यक्षता सेवानिवृत्त न्यायाधीश असीम कुमार रॉय कर रहे हैं.
मंगलवार को आयोग ने नबन्ना में हुई इस घटना को लेकर अपनी शुरुआती रिपोर्ट पेश की और उसे राज्य सरकार को सौंप दिया. सूत्रों के मुताबिक, आयोग ने मामले की निष्पक्ष और गहराई से जांच के लिए एक विशेष जांच दल (SIT) बनाने की सिफारिश की है. इसके साथ ही आयोग ने बिधान नगर पुलिस और राज्य के खेल विभाग से 24 घंटे के भीतर इस घटना से जुड़ी विस्तृत रिपोर्ट भी मांगी है, ताकि पूरे मामले की सही तस्वीर सामने आ सके.
CM ममता बनर्जी ने मांगी थी माफी
ममता बनर्जी ने एक्स पर लिखा था कि सॉल्ट लेक स्टेडियम में हुई बदइंतजामी देखकर मैं बहुत दुखी और स्तब्ध हूं. मैं खुद हजारों खेल प्रेमियों और फैंस के साथ स्टेडियम जा रही थी ताकि अपने पसंदीदा फुटबॉलर लियोनल मेसी का स्वागत कर सकूं. इस दुर्भाग्यपूर्ण घटना के लिए मैं लियोनल मेसी से, सभी खेल प्रेमियों से और उनके फैंस से तहे दिल से माफी मांगती हूं.
ममता ने आगे कहा था कि वे इस पूरे मामले की जांच के लिए एक कमिटी गठित कर रही हैं. इस कमिटी की अध्यक्षता रिटायर्ड जस्टिस अशिम कुमार राय करेंगे. इसमें मुख्य सचिव और गृह एवं पर्वतीय मामलों के अतिरिक्त मुख्य सचिव भी सदस्य होंगे. कमिटी घटना की विस्तृत जांच करेगी, जिम्मेदारी तय करेगी और भविष्य में ऐसी घटनाओं को रोकने के उपाय सुझाएगी.
मेसी की साफ झलक नहीं मिली
यह घटनासाल्टलेक स्टेडियम में हुई, जहां मेसी सुबह करीब 20 से 25 मिनट तक मौजूद रहे. इस दौरान स्टेडियम में राजनेताओं, वीवीआईपी मेहमानों और भारी सुरक्षा घेरे के कारण आम दर्शकों को मेसी की साफ झलक नहीं मिल सकी.
हजारों फैंस स्टेडियम पहुंचे
मेसी को देखने के लिए हजारों फैंस स्टेडियम पहुंचे थे. लोगों ने 4,000 से 12,000 रुपये तक के टिकट खरीदे थे, जबकि कुछ प्रशंसकों ने ब्लैक में 20,000 रुपये तक देकर टिकट लिया था. जब दर्शकों को लगा कि वे अपने पसंदीदा खिलाड़ी को ठीक से नहीं देख पा रहे हैं और मेसी जल्दी ही स्टेडियम से चले गए, तो उनका गुस्सा फूट पड़ा.
फैंस ने जमकर हंगामा किया
नाराज फैंस ने स्टेडियम के अंदर जमकर हंगामा किया. कई जगह पोस्टर फाड़ दिए गए, कुर्सियां उखाड़ दी गई और खाने-पीने के पैकेट मैदान की ओर फेंके गए. कुछ लोग सुरक्षा घेरा तोड़कर मैदान के अंदर भी घुस गए. हालात बिगड़ते देख पुलिस को लाठीचार्ज करना पड़ा. पुलिस की इस कार्रवाई में कुछ लोगों के घायल होने की भी खबर है.
AIFF ने जारी किया था बयान
घटना के बाद अखिल भारतीय फुटबॉल महासंघ ने साफ किया था कि यह कार्यक्रम पूरी तरह से एक निजी आयोजन था. AIFF ने अपने बयान में कहा था कि इस इवेंट का आयोजन एक पीआर एजेंसी द्वारा किया गया था और महासंघ का इसमें किसी भी तरह का कोई रोल नहीं था. AIFF के अनुसार, न तो कार्यक्रम की योजना या व्यवस्था में उनकी कोई भागीदारी थी और न ही उनसे किसी प्रकार की अनुमति ली गई थी. कार्यक्रम से जुड़ी जानकारी भी पहले से महासंघ को नहीं दी गई थी.