दक्षिण कोरिया के निलंबित राष्ट्रपति की बढ़ी मुश्किलें, कोर्ट ने महाभियोग लगाए गए राष्ट्रपति यून के खिलाफ नए गिरफ्तारी वारंट को मंजूरी दी

यह गिरफ्तारी वारंट दक्षिण कोरिया के राजनीतिक माहौल में एक नया मोड़ ला सकता है. राष्ट्रपति यून सुक योल के खिलाफ जारी इस वारंट को लेकर देशभर में विभिन्न प्रतिक्रियाएं देखने को मिल रही हैं.

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Mayank Tiwari

दक्षिण कोरिया की एक अदालत ने मंगलवार (7 जनवरी) को महाभियोग का सामना कर रहे राष्ट्रपति यून सुक योल के खिलाफ एक नया गिरफ्तारी वारंट जारी किया है. यह वारंट उनके देश में मार्शल लॉ लागू करने के लिए की गई एक असफल कोशिश के सिलसिले में जारी किया गया है. वहीं, संयुक्त जांच मुख्यालय ने एक बयान में कहा, "संदिग्ध यून के लिए पुनः गिरफ्तारी वारंट आज दोपहर को जारी किया गया है. यह गिरफ्तारी वारंट उनके खिलाफ जांच के दौरान फिर से अनुरोध किया गया था.

मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, यून सुक योल की सरकार पर आरोप है कि उन्होंने देश में अस्थिरता की स्थिति का फायदा उठाकर मार्शल लॉ लागू करने की कोशिश की थी, जिसे अंततः खारिज कर दिया गया था. इस विवाद के बाद राष्ट्रपति के खिलाफ कड़ी आलोचना हुई, और अब इस मामले में जांच चल रही है. जिनके मार्शल लॉ के असफल प्रयास ने देश में उथल-पुथल मचा दी थी.

जानिए क्या है पूरा मामला?

वहीं, पूर्व स्टार अभियोजक ने 3 दिसंबर को अपने मार्शल लॉ संबंधी गलत आदेश के बाद तीन बार पूछताछ से इनकार कर दिया था, जिसके कारण दक्षिण कोरिया दशकों में सबसे खराब राजनीतिक संकट में फंस गया था. जबकि भ्रष्टाचार विरोधी अधिकारी उसी अदालत से नया वारंट मांग रहे हैं जिसने पहला आदेश जारी किया था, श्री यून अपने आवास में छिपे हुए हैं तथा उन्हें हिरासत में लेने से रोकने के लिए सैकड़ों सुरक्षाकर्मी उनके चारों ओर मौजूद हैं.

भ्रष्टाचार जांच कार्यालय (सीआईओ) ने सोमवार (6 जनवरी, 2025) को एक बयान में कहा, "संयुक्त जांच मुख्यालय ने आज प्रतिवादी यून के लिए गिरफ्तारी वारंट बढ़ाने के लिए सियोल पश्चिमी जिला न्यायालय में वारंट फिर से दायर किया है. प्रारंभिक सात दिवसीय वारंट की समाप्ति के बाद इसमें कहा गया कि, "वैधता अवधि के बारे में विवरण का खुलासा नहीं किया जा सकता है. यदि जांचकर्ता उन्हें हिरासत में लेने में सफल हो जाते हैं, तो श्री यून गिरफ्तार होने वाले पहले दक्षिण कोरियाई राष्ट्रपति बन जाएंगे.

कोर्ट द्वारा विस्तार न दिए जाने की संभावना "बहुत कम

फिलहाल, मंगलवार (7 जनवरी, 2025) दोपहर तक नए वारंट को मंजूरी दिए जाने पर जांचकर्ताओं या सियोल अदालत की ओर से कोई टिप्पणी नहीं की गई. हालांकि, सीआईओ के उप निदेशक ली जे-सुंग ने मंगलवार (7 जनवरी, 2025) को संवाददाताओं को बताया कि अदालत द्वारा विस्तार न दिए जाने की संभावना "बहुत कम" है.