Donald Trump Golden Statue: डोनाल्ड ट्रंप का 12 फुट ऊंचा गोल्डन स्टैच्यू, हाथ में नजर आ रहा बिटकॉइन! जानें क्या है पूरा मामला

अमेरिका में एक नए मुद्दे ने विवाद को जन्म दिया है. कैपिटल के बाहर अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप 12 फुट ऊंची गोल्डेन मूर्ति स्थापित की गई है. जिसमें ट्रंप बिटकॉईन पकड़े नजर आ रहे हैं. इस मूर्ति की फोटो सोशल मीडिया पर तेजी से शेयर की जा रही है.

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Shanu Sharma

Donald Trump Golden Statue: अमेरिकी कैपिटल के बाहर अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की 12 फुट ऊंची मूर्ति स्थापित की गई है. जिसमें ट्रंप एक बिटकॉइन पकड़े नजर आ रहा है. इस मूर्ति को लेकर लोगों के बीच बहस तेज हो गई है. इस मूर्ति के लिए क्रिप्टोकरेंसी के निवेशकों ने फंड दिया है. 

आयोजकों का कहना है कि ऐसा करके वे डिजिटल मुद्रा, मौद्रिक नीति और वित्तीय बाजारों में सरकार की भूमिका पर चर्चा शुरू करना चाहते हैं. सोशल मीडिया पर इस मूर्ति की फोटो तेजी से शेयर की जा रही है. वहीं लोग अपने-अपने विचारों को भी साझा कर रहे हैं.

फेडरल रिजर्व ने ब्याज दरों में की कटौती

अमेरिका में लोग दो भागों में बट चुके हैं. कई लोग ट्रंप के क्रिप्टोकरेंसी के प्रति रुख की सराहना कर रहे हैं. वहीं कुछ लोग इसका विरोध भी जता रहे हैं. हालांकि कुछ ऐसे लोग भी है जो इसे अनावश्यक और दिखावटी मान रहे हैं. इस मूर्ति का अनावरण ऐसे समय में किया गया है जब फेडरल रिजर्व ने ब्याज दरों में 25 आधार अंकों की कटौती की घोषणा की है. दिसंबर 2024 के बाद ऐसा पहली बार हुआ है. इसके बाद अल्पकालिक ब्याज दर 4.3 प्रतिशत से घटकर 4.1 प्रतिशत हो जाएगी. फेडरल रिजर्व ने इस साल दो और कटौतियों की योजना बनाई है, लेकिन 2026 में केवल एक कटौती होगी. इस खबर से वॉल स्ट्रीट में निराशा की लहर है, क्योंकि निवेशक अधिक कटौतियों की उम्मीद कर रहे थे.  

ट्रंप और फेडरल रिजर्व का तनाव  

राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और फेडरल रिजर्व के बीच तनाव कोई नई बात नहीं है. ट्रंप लंबे समय से फेडरल रिजर्व के प्रमुख जेरोम पॉवेल और उनकी नीतियों की आलोचना करते रहे हैं. ब्याज दरों में इस कटौती के फैसले पर ट्रंप की प्रतिक्रिया पर सभी की नजरें टिकी हैं. कुछ विशेषज्ञों का मानना है कि ट्रंप इस कटौती को अपर्याप्त बता सकते हैं, क्योंकि वे पहले भी फेडरल रिजर्व पर नरम मौद्रिक नीति के लिए दबाव डाल चुके हैं.ट्रंप की प्रतिमा और ब्याज दरों में कटौती का यह समय क्रिप्टोकरेंसी के बढ़ते प्रभाव को दर्शा रहा है. बिटकॉइन और अन्य डिजिटल मुद्राओं ने हाल के वर्षों में निवेशकों का ध्यान अपनी ओर खिंचा है. ट्रंप ने बार-बार क्रिप्टोकरेंसी को समर्थन दिया है, जिसे उनके समर्थक डिजिटल अर्थव्यवस्था की दिशा में एक बड़ा कदम मानते हैं. प्रतिमा के आयोजकों का कहना है कि यह न केवल ट्रंप के योगदान को दर्शाती है, बल्कि यह भी दिखाती है कि क्रिप्टोकरेंसी अब वैश्विक वित्तीय चर्चाओं के लिए अहम मुद्दा बन चुका है. आने वाले समय में यह देखना काफी दिलचस्प होगा कि आखिर डिजिटल करेंसी कितना प्रभावशाली बनती है.