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राजौरी में रहस्यमयी बीमारी ने मचाया आतंक, रद्द की गई डॉक्टरों की छुट्टियां, 17 की मौत, 230 किए गए आइसोलेट

Rajouri Deaths: राजौरी में इस रहस्यमयी बीमारी की स्थिति को लेकर पूरी प्रशासनिक और चिकित्सा टीम सक्रिय रूप से काम कर रही है. लोग उम्मीद कर रहे हैं कि जल्द ही इस बीमारी के कारणों का पता चल सकेगा और इससे निपटने के लिए प्रभावी उपाय किए जा सकेंगे.

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Edited By: Gyanendra Tiwari
Mysterious disease Badhaal GMC Rajouri Leaves of Doctors and Paramedics cancelled
Courtesy: Social Media

Rajouri Deaths:  राजौरी के बडहाल गांव में एक रहस्यमयी बीमारी ने कई परिवारों को अपनी चपेट में ले लिया है. अब तक तीन परिवारों के 17 लोगों की मौत हो चुकी है, जिनमें से 13 बच्चे और 4 वयस्क हैं. यह घटना पिछले एक महीने से भी अधिक समय से जारी है, और इसने पूरे क्षेत्र में एक स्वास्थ्य आपातकाल का माहौल बना दिया है. पीड़ित परिवारों के 230 लोगों को आइसोलेट किया गया है. इस बीमारी के बारे में पता लगाया जा रहा है. 

बडहाल गांव, जो कात्रांका क्षेत्र के एक दूरदराज इलाके में स्थित है, इस समय इस रहस्यमयी बीमारी का केंद्र बन चुका है. इस गांव के तीन परिवारों के सदस्य अचानक बीमार पड़ने लगे थे, और धीरे-धीरे इनकी मौतें होती गईं. खास बात यह है कि इन तीन परिवारों के अलावा किसी और में यह बीमारी नहीं फैली, जिससे यह स्थिति और भी रहस्यमयी हो गई है.

हेल्थ इमरजेंसी की वजह से रद्द की गई डॉक्टरों की छुट्टियां

अब तक 17 लोगों की मौत हो चुकी है, जिनमें से 8 मौतें 12 जनवरी के बाद हुई हैं. मृतकों में 4 वयस्क और 13 बच्चे शामिल हैं, जो मोहम्मद फजल, मोहम्मद असलम और मोहम्मद रफीक के परिवारों के सदस्य हैं.

राजौरी के सरकारी मेडिकल कॉलेज (GMC) में डॉक्टरों और पैरामेडिकल कर्मचारियों की छुट्टियां रद्द कर दी गई हैं. स्वास्थ्य विभाग ने इस रहस्यमयी बीमारी को लेकर पूरी गंभीरता से काम करना शुरू कर दिया है. इस संकट का मुकाबला करने के लिए सरकार ने GMC राजौरी में अतिरिक्त मेडिकल छात्रों को भेजा है, ताकि स्थिति से निपटा जा सके.

GMC राजौरी के प्रिंसिपल डॉ. अमरजीत सिंह भाटिया ने बताया कि "जम्मू और कश्मीर सरकार ने 10 अतिरिक्त मेडिकल छात्रों को GMC राजौरी में तैनात किया है, ताकि चिकित्सा व्यवस्था को मजबूत किया जा सके."

जांच और सुरक्षा उपाय

इस रहस्यमयी बीमारी के कारण हो रही मौतों की जांच के लिए केंद्रीय टीम और पुलिस द्वारा अलग-अलग जांच की जा रही है. संदिग्ध विषाक्त पदार्थों (न्यूरोटॉक्सिन) के बारे में जानकारी मिलने के बाद एक विशेष जांच टीम (SIT) गठित की गई है. अब तक 50 से अधिक लोगों से पूछताछ की जा चुकी है.