'अपराधी आजाद, पीड़ितों में दहशत...', केरला कांड पर राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को क्यों कहनी पड़ी ये बात?

पश्चिम बंगाल के एक अस्पताल में महिला नर्स के साथ पेशेंट ने बदसलूकी की. कुछ दिन पहले, आरजी कर मेडिकल कॉलेज में एक ट्रेनी डॉक्टर से पहले रेप हुआ, फिर हत्या हो गई. देश के कई हिस्सों से रेप और महिलाओं पर हिंसा की खबरें सामने आई हैं. इन घटनाओं पर राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने निराशा जताई है और कहा है कि अपराधी तो आजाद घूमते हैं, दहशत में पीड़ित रहते हैं.

Imran Khan claims
ANI

पश्चिम बंगाल के आरजी कर हॉस्पिटल में ट्रेनी डॉक्टर की रेप और हत्या का मामला थमा नहीं था कि केरल में एक बार फिर #Metoo मूवमेंट पर बहस छिड़ गई. हेमा कमेटी की रिपोर्ट सामने आई तो कुछ बड़े चेहरे हिल गए. राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने महिलाओं के प्रति बढ़ रहे अपराधों पर चिंता जाहिर की और कहा कि जो महिलाएं पीड़ित हैं, उनके प्रति समाज की सहानुभूति का न होना, चिंताजनक है. 

मलयालम सिनेमा के कई बड़े सितारों पर यौन उत्पीड़न के गंभीर आरोप लगे हैं. महिलाएं, दर्दनाक अनुभवों को साझा कर रही हैं. देश में महिलाओं के साथ कार्यस्थल पर हो रहे सलूक को लेकर राष्ट्रपति ने चिंता जताई है. राष्ट्रपति मुर्मू ने कहा कि यह चिंताजनक है कि महिलाओं के साथ देश में ऐसा व्यवहार हो रहा है.

'जैसे पीड़ित खुद अपराधी हो'

राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने सुप्रीम कोर्ट के 75 वर्ष पूरे होने के अवसर पर जिला न्यायपालिका के राष्ट्रीय सम्मेलन में कहा, 'यह हमारे सामाजिक जीवन का एक दुखद पहलू है कि अपराध करने के बाद भी अपराधी बेखौफ घूमते रहते हैं. जो लोग अपने अपराधों के शिकार होते हैं, वे इस डर में जीते हैं जैसे उन्होंने कई अपराध किए हों. महिला पीड़ितों की स्थिति और भी बदतर है क्योंकि समाज के लोग भी उनका समर्थन नहीं करते हैं.'

'न्याय के लिए सब साथ मिलकर करें काम'

राष्ट्रपति मुर्मू ने कहा, 'न्याय प्रणाली के सामने आने वाली बाधाओं को दूर करने के लिए सभी पक्षों को साथ मिलकर काम करना चाहिए. मुझे बताया गया है कि हाल के दिनों में समय पर प्रशासन, बुनियादी ढांचे, सुविधाओं, प्रशिक्षण और जनशक्ति की उपलब्धता में सुधार हुआ है. लेकिन इन सभी क्षेत्रों में अभी भी बहुत कुछ किया जाना बाकी है. मेरा मानना ​​है कि सुधार के सभी पहलुओं में तेजी से प्रगति होनी चाहिए.'

राष्ट्रपति को है इस बात की खुशी 

राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने कहा, 'मुझे यह जानकर खुशी हुई कि हाल के वर्षों में चयन समितियों में महिलाओं की संख्या बढ़ी है. इस इजाफे की वजह से चयन समितिओं में महिलाओं की संख्या 50 प्रतिशत तक बढ़ गई है.'
 

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