मेंटल, फिजिकल टॉर्चर... कैसी होती है पैरा कमांडो की ट्रेनिंग?


India Daily Live
2024/07/09 10:12:39 IST

कौन होते हैं पैरा कमांडो?

    भारतीय सेना की पैराशूट रेजिमेंट की स्पेशल फोर्स यूनिट है.

Credit: Social Media

पैरा कमांडो की शुरुआत कब हुई थी?

    पैराशूट रेजीमेंट की शुरुआत 1 जुलाई 1966 में हुई थी. पैरा कमांडो हमारे देश की रक्षा के लिए जी जान लगा देते हैं.

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कैसे होता है पैरा कमांडो का चयन?

    पैरा कमांडो की चयन प्रक्रिया डायरेक्ट रिक्रूटमेंट और इंडियन आर्मी के जरिये होती है. आवेदकों में से सिर्फ 2 से 5 फीसदी लोग ही इस स्पेशल फोर्स को ज्वाइन कर पाते हैं.

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कैसी होती है ट्रेनिंग?

    पैरा कमांडो की ट्रेनिंग बहुत टफ होती है.एक पैरा कमांडो को 33 हजार फुट की ऊंचाई से कम से कम 50 जंप लगानी पड़ती है.

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20 किलोमीटर की दौड़

    ट्रेनिंग के दौरान रोजाना 60 से 65 किलो वजन और 20 किलोमीटर की दौड़ लगानी होती है.

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कहां होती है पैरा कमांडो की ट्रेनिंग?

    इनकी ट्रेनिंग बैंगलोर में करवाई जाती है.

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कौन कर सकता है आवेदन?

    इंडियन आर्मी में शामिल जो जवान पैरा रेजिमेंट में जाना चाहते हैं, उन्हें वालंटियर बनकर आवेदन करना पड़ता है.

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पैरा कमांडो की सैलरी?

    पैरा कमांडो में भर्ती होने के बाद सेना की रैंक के अनुसार उन्हें सैलरी मिलती है.

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सुविधा:

    पैरा कमांडो को रहने के लिए सरकारी क्वॉर्टर/बैरक और कैंटीन की सुविधाएं मिलती हैं.

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पैरा स्पेशल फोर्स

    आर्मी हॉस्पिटल में खुद के और परिवार के फ्री इलाज की भी सुविधा मिलती है.

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