भारत में चीन की इन कंपनियों पर लगाया एंटी-डंपिंग शुल्क, देखें लिस्ट


Ritu Sharma
2025/03/24 09:35:35 IST

किन चीनी उत्पादों पर लगाया गया एंटी-डंपिंग शुल्क?

    भारत ने इन 5 चीनी उत्पादों पर शुल्क लगाया है: एल्युमीनियम फॉयल – $873 प्रति टन (6 महीने के लिए अस्थायी शुल्क) ट्राइक्लोरो आइसोसायन्यूरिक एसिड – $276 से $986 प्रति टन सॉफ्ट फेराइट कोर – सीआईएफ मूल्य का 35% तक शुल्क वैक्यूम इंसुलेटेड फ्लास्क – $1,732 प्रति टन पॉली विनाइल क्लोराइड (PVC) पेस्ट रेजिन – $89 से $707 प्रति टन

Credit: Social Media

एंटी-डंपिंग शुल्क क्यों लगाया गया?

    भारत में चीनी उत्पादों का डंपिंग घरेलू उद्योगों के लिए बड़ा खतरा बन रहा था. चीन से कम कीमत पर सामान आयात करने से स्थानीय उत्पादकों को भारी नुकसान हो रहा था. एंटी-डंपिंग शुल्क इन आयातों को रोकने और घरेलू उद्योगों को प्रतिस्पर्धा में बनाए रखने के लिए लगाया गया.

Credit: Social Media

क्या है एंटी-डंपिंग जांच?

    वाणिज्य मंत्रालय के तहत व्यापार उपचार महानिदेशालय (DGTR) द्वारा यह जांच की जाती है कि क्या सस्ते आयात से स्थानीय उद्योग प्रभावित हो रहे हैं? अगर जांच में यह साबित होता है कि विदेशी उत्पादकों ने अपने ही देश की तुलना में भारत में कम कीमत पर सामान बेचा, तो सरकार एंटी-डंपिंग शुल्क लगाने का फैसला लेती है.

Credit: Social Media

एंटी-डंपिंग शुल्क क्या WTO नियमों के खिलाफ है?

    नहीं, यह शुल्क विश्व व्यापार संगठन (WTO) के नियमों के तहत पूरी तरह वैध है. GATT अनुच्छेद 6 देशों को डंपिंग के खिलाफ कार्रवाई करने की अनुमति देता है. इसका उद्देश्य घरेलू उद्योगों को समान अवसर देना और बाजार में संतुलन बनाए रखना है.

Credit: Social Media

भारत और चीन के व्यापार घाटे की चिंता

    चीन भारत का दूसरा सबसे बड़ा व्यापारिक साझेदार है, लेकिन दोनों देशों के बीच व्यापार घाटा लगातार बढ़ रहा है. 2023-24 में यह घाटा $85 बिलियन तक पहुंच गया. भारत ने चीन से बिना नियंत्रण के बढ़ते आयात पर चिंता जताई है और इसे नियंत्रित करने के लिए एंटी-डंपिंग शुल्क जैसे कदम उठाए जा रहे हैं.

Credit: Social Media

इस फैसले से भारतीय बाजार पर क्या प्रभाव पड़ेगा?

    स्थानीय उद्योगों को राहत मिलेगी और उन्हें प्रतिस्पर्धा में बने रहने में मदद मिलेगी. चीनी उत्पादों की निर्भरता घटेगी और भारतीय कंपनियों को अपने उत्पादों को मजबूत करने का मौका मिलेगा. घरेलू निर्माण उद्योग को बढ़ावा मिलेगा, जिससे ‘मेक इन इंडिया’ पहल को मजबूती मिलेगी. घरेलू निर्माण उद्योग को बढ़ावा मिलेगा, जिससे 'मेक इन इंडिया' पहल को मजबूती मिलेगी.

Credit: Social Media

आगे क्या हो सकता है?

    भारत अन्य चीनी उत्पादों पर भी एंटी-डंपिंग शुल्क लगाने पर विचार कर सकता है. सरकार बाजार में अवैध डंपिंग को रोकने के लिए निगरानी जारी रखेगी. साथ ही, भारत अपने व्यापार घाटे को कम करने के लिए विकल्पों की तलाश करेगा, जिससे घरेलू उत्पादन को और बढ़ावा मिल सके.

Credit: Social Media
More Stories