भारत ने कैसे कतर में रोकी 8 भारतीय नौसैनिकों की फांसी, जानें क्या है पर्दे के पीछे की कहानी


Gyanendra Tiwari
2023/12/29 07:38:49 IST

फांसी की सजा हुई कम

    कतर ने 8 पूर्व भारतीय नौसैनिकों की फांसी की सजा को कम कर दिया है. यह भारत के लिए बड़ी कूटनीतिक जीत मानी जा रही है.

आसान नहीं था सजा कम करवाना

    लेकिन भारत के लिए 8 पूर्व नौसैनिकों की फांसी की सजा को कम करवाना आसान काम नहीं काम था. आइए इसके पीछे की इनसाइड स्टोरी स्लाइड्स के जरिए समझते हैं.

पीएम मोदी पहली कतर यात्रा

    पीएम बनने के पीएम मोदी पहली बार 4 जून 2014 को कतर दौरे पर गए थे. उस दौरान उन्होंने वहां कहा था कि कतर के शासनकर्ता भारतीयों से बहुत प्यार करते हैं. हम जो बात उनके सामने रखते हैं वो उसका सकारात्मक समाधान खोजते हैं.

दुबई में हुई थी मुलाकात

    हाल ही में दुबई में आयोजित सीओपी 28 शिखर सम्मेलन में पीएम मोदी और कतर के अमीर शेख तमीम बिन हमद अल थानी के बीच मुलाकात हुई थी. दोनों गर्मजोशी और सकारात्मक भाव से मिलते दिखे थे. पीएम मोदी ने मुलाकात के बाद ट्वीट भी किया था.

मुलाकात के बाद कैदियों से मिलाई

    पीएम मोदी 2 दिसंबर को कतर के शेख से मुलाकात करते हैं और 3 दिसंबर को कतर में भारत के राजदूत को जेल में बंद 8 भारतीय पूर्व नौसैनिकों से मिलने दिया जाता है.  

चुनौतीपूर्ण काम

    कतर से बात 8 कैदियों की फांसी की सजा कम करवाना भारत के लिए बहुत बड़ी चुनौती रही. पीएम मोदी और कतर के शेख के बीच की केमिस्ट्री ही अब भारतीय कैदियों के वतन वापसी का रास्ता भी खोल सकती हैं.

पीएम मोदी की भूमिका

    क्योंकि, सऊदी अरब और यूयेई जैसे देश भारत के करीबी दोस्त के कतर से मधुर संबंध नहीं है और न ही अमेरिका इसमें कोई बड़ी भूमिका निभा सकता है. इसलिए पीएम मोदी और शेख के बीच मजबूत राजनीतिक संबंध ही 8 भारतीय पूर्व नौसैनिक बंदियों की रिहाई का रास्ता हो सकते हैं. 

More Stories