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India Daily

तेजस्वी के हुए नीतीश के संतोष कुशवाहा, जेडीयू पर साधा निशाना, EBC की अनदेखी का लगाया आरोप

आरजेडी जॉइन करने के बाद संतोष कुशवाहा ने मीडिया से खुलकर बात की. उन्होंने JDU पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि पार्टी में अब अति पिछड़ा वर्ग (EBC), लव-कुश समुदाय और महादलितों के लिए कोई स्थान नहीं बचा है.

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Edited By: Gyanendra Sharma
santosh Kushwaha
Courtesy: Social Media

Santosh Kushwaha: बिहार विधानसभा चुनाव की तैयारियों के बीच सियासी पारा चरम पर पहुंच गया है.  नामांकन प्रक्रिया शुरू होने के साथ ही दल-बदल का सिलसिला तेज हो गया है.  इसी कड़ी में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अगुवाई वाली जनता दल (यूनाइटेड) को एक और करारा झटका लगा है.  पार्टी के वरिष्ठ नेता और पूर्णिया से पूर्व सांसद संतोष कुशवाहा ने शुक्रवार को नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी प्रसाद यादव की मौजूदगी में राष्ट्रीय जनता दल (RJD) जॉइन कर लिया.  उनके साथ कई अन्य नेता भी विपक्षी खेमे में शामिल हुए, जिससे JDU में हड़कंप मच गया है. 

आरजेडी के पटना स्थित मुख्यालय में आयोजित एक सादगी भरे समारोह में संतोष कुशवाहा ने पार्टी की प्राथमिक सदस्यता ग्रहण की.  तेजस्वी यादव ने उनका स्वागत करते हुए कहा कि यह बदलाव बिहार की राजनीति में एक नई ऊर्जा का संचार करेगा.  उन्होंने जोर देकर कहा, "बिहार की जनता अब सशक्त और समावेशी शासन चाहती है.  ऐसे नेताओं का हमारे साथ आना इस दिशा में महत्वपूर्ण कदम है. " समारोह में कुशवाहा के अलावा पूर्व विधायक राहुल शर्मा, लोजपा के पूर्व प्रत्याशी अजय कुशवाहा और JDU सांसद गिरधारी प्रसाद यादव के पुत्र चाणक्य प्रकाश रंजन भी RJD में शामिल हुए.  इन नेताओं के पदार्पण से विपक्षी महागठबंधन को मजबूती मिलने की उम्मीद जताई जा रही है. 

JDU में EBC की अनदेखी का आरोप

आरजेडी जॉइन करने के बाद संतोष कुशवाहा ने मीडिया से खुलकर बात की.  उन्होंने JDU पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि पार्टी में अब अति पिछड़ा वर्ग (EBC), लव-कुश समुदाय और महादलितों के लिए कोई स्थान नहीं बचा है.  कुशवाहा ने कहा, JDU में हर कोई अब वैकल्पिक रास्ते तलाश रहा है.  वोट तो पिछड़े, अति पिछड़े और महादलितों का है, लेकिन सत्ता का संचालन कुछ ही हाथों में सिमट गया है.  उन्होंने पार्टी के कार्यकारी अध्यक्ष संजय झा का नाम लिए बिना उन्हें निशाना बनाते हुए टिप्पणी की कि चुनावी हार के बावजूद कुछ लोग ऊंचे पदों पर काबिज हो जाते हैं.  उनका इशारा संजय झा, केंद्रीय मंत्री ललन सिंह और मंत्री विजय चौधरी जैसे नेताओं की ओर माना जा रहा है. 

कुशवाहा ने आगे कहा, इस बार बिहार में तेजस्वी यादव के नेतृत्व में सरकार बनना तय है.  RJD में मुझे वह सम्मान और अवसर मिलेगा जो मेरे समुदाय को चाहिए. " उनके इस बयान ने JDU के अंदरूनी कलह को और उजागर कर दिया है.  पार्टी के कई नेता पहले से ही असंतोष जता चुके हैं, और यह घटना उसकी पुष्टि करती है. 

संतोष कुशवाहा का सियासी सफर

संतोष कुशवाहा बिहार की राजनीति के एक जाना-पहचाने चेहरे हैं.  कुशवाहा-कुर्मी समुदाय से ताल्लुक रखने वाले कुशवाहा ने अपना राजनीतिक सफर भाजपा से शुरू किया था.  2010 में वे बायसी विधानसभा सीट से विधायक बने.  बाद में 2013 में उन्होंने भाजपा छोड़कर JDU का दामन थामा और 2014 व 2019 के लोकसभा चुनावों में पूर्णिया से सांसद चुने गए.  सीमांचल क्षेत्र में उनका मजबूत आधार होने के कारण वे JDU के लिए महत्वपूर्ण स्तंभ माने जाते थे.  हालांकि, 2024 के लोकसभा चुनाव में वे पप्पू यादव से हार गए, जिसके बाद से उनकी असंतोष की खबरें आ रही थीं.