मध्य प्रदेश से एक बेहद ही अजीबो गरीब व हैरान कर देने वाला मामला सामाने आया है. इसे सुनकर आपके मन में भी कई सवाल आएंगे. खबर है कि एमपी के एक परिवार की सालाना आया मात्र 2 रुपये है. यकिन करना मुश्किल होगा. लेकिन यह सच है जिसका प्रशासन द्वारा परिवार को आय का प्रमाण पत्र भी जारी किया गया है. इस पत्र पर तहसीलदार के भी साइन हैं.
एमपी के सागर जिले के बंडा तहसील में स्थित गांव घोघरा में बलराम चढ़ार का रहते हैं. परिवार बेहद ही गरीब है स्थिति भी काफी बदहाल है. इसकी वजह से परिवार के सभी लोग मेहनत मजदूरी कर अपना पेट पालते हैं. बलराम ने अपने बेटे की स्कॉलरशिप के लिए तहरीदार से आय प्रमाण पत्र बनावाने के लिए ऑनलाइन आवेदन करा था. आवेदन साल 2023 में 8 जनवरी को जारी किया गया। आय के प्रमाण पत्र में परिवार की सालाना आया 2 रुपये अंकित कर दी गई. इतना ही नहीं प्रमाण पत्र में तहरीलदार के साइन भी है.
क्योंकि आवेदनकर्ता को अब प्रशासन द्वारा की गई भारी लापरवाही का खामियाजा भुगतना पड़ रहा है. क्योंकि इसकी वजह से आवेदनकर्ता के बेटे सौरभ को अभी तक स्कॉलरशिप नहीं मिल पाई है. वह जब भी स्कॉलरशिप के लिए आवेदन करते हैं, उनवका प्रमाण पत्र गलत बताकर खारिज कर दिया जाता है.
क्योंकि प्रशासनिक अधिकारियों द्वारा की गई गलतियों की सजा परिवार को भुगतनी पड़ रही है. जहां एक तरफ परिवार दावा कर रहा कि उनके पास सालाना कमाई मात्र 2 रुपए वाला प्रमाण पर है, जिस पर बंडा के तहसीलदार महेंद्र सिंह चौहान के साइन भी हैं. तो दूसरी तरफ मौजूदा बंडा तहसील का कहना है कि 2 रुपये की सालाना आय वाले प्रमाण पत्र का कोई प्रक्रण उनके संज्ञान में नहीं है.
तहसीलदार महेंद्र सिंह चौहान ने कहा कि मामला उनके तबादले से पूर्व का है. इस तरह का प्रमाण पत्र कैसे जारी हुआ वह इसकी जांच करवा रहे हैं. चौहान ने यह भी कहा कि संबंधित को सुधार कर नया संशोधित प्रमाण पत्र दिया जाएगा. लेकिन जब जक उन्हें सही प्रमाण पत्र जारी नहीं होता तब जब वह दुनिया का सबसे कम आय वाला गरीब परिवा होगा.