Megha Engineering: इलेक्टोरल बॉन्ड डोनर नंबर-2 यानी मेघा इंजीनियरिंग को सरकार की ओर से मिले प्रोजेक्ट्स के बारे में चौंकाने वाला खुलासा हुआ है. इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक, मेघा इंजीनियरिंग को 2019 से 2023 के बीच 5 बड़े प्रोजेक्ट्स मिले. मेघा इंजीनियरिंग ने अधिकतर बॉन्ड्स की खरीदारी प्रोजेक्ट्स के मिलने के पहले या फिर बाद में की. रिपोर्ट के मुताबिक, मेघा की ओर से डोनेट किए गए अधिकतर बॉन्ड को भाजपा ने ही इनकैश कराया.
इंडियन एक्सप्रेस ने 2019 और 2023 के बीच मेघा इंजीनियरिंग एंड इंफ्रास्ट्रक्चर लिमिटेड (MEIL) को मिली 5 प्रमुख प्रोजेक्ट्स की पहचान की. सामने आया कि MEIL ने कॉन्ट्रैक्ट मिलने के आसपास ही चुनावी बॉन्ड खरीदे. खास बात ये कि डोनर नंबर-2 यानी MEIL की ओर से डोनेट किए गए अधिकतर बॉन्ड को भाजपा ने इनकैश कराया.
पामिरेड्डी पिची रेड्डी और पीवी कृष्णा रेड्डी की ओर से प्रमोटेड हैदराबाद स्थित मेघा इंजीनियरिंग एंड इंफ्रास्ट्रक्चर लिमिटेड ने 2019 से 2023 के बीच 966 करोड़ रुपये के इलेक्टोरल बॉन्ड खरीदे, जो नंबर वन डोनर फ्यूचर गेमिंग के बाद दूसरा सबसे बड़ा खरीदार है. रिपोर्ट्स के मुताबिक, मेघा इंजीनियरिंग ने कम से कम 9 बार ऐसे वक्त में चुनावी बॉन्ड की खरीदारी की, जब उसे सरकारी प्रोजेक्ट्स का कॉन्ट्रैक्ट मिला.
पामिरेड्डी पिची रेड्डी और पीवी कृष्णा रेड्डी की कंपनी ने अप्रैल 2019 और अक्टूबर 2023 के बीच कई विंडो में लगातार चुनावी बॉन्ड खरीदे. 966 करोड़ रुपये की कुल चुनावी बॉन्ड में से सबसे अधिक 584 करोड़ रुपये भाजपा ने इनकैश कराए. वहीं, तेलंगाना की तत्कालीन सरकार यानी BRS ने MEIL की ओर से खरीदे गए 195 करोड़ रुपये के बॉन्ड को इनकैश कराया. इसके बाद DMK ने 85 करोड़ रुपये के बॉन्ड इनकैश कराए. इन पार्टियों के अलावा, MEIL की ओर से खरीदे गए चुनावी बॉन्ड्स को वाईएसआर कांग्रेस, तेलुगु देशम पार्टी, कांग्रेस, जनता दल (यूनाइटेड), जनता दल (सेक्युलर) और जनसेना पार्टी ने भी इनकैश कराया.
MEIL को मई 2023 में मुंबई महानगर क्षेत्र विकास प्राधिकरण (MMRDA) से 14,400 करोड़ रुपये की ठाणे-बोरीवली ट्विन टनल प्रोजेक्ट का कॉन्ट्रैक्ट मिला. इससे ठीक एक महीने पहले MEIL ने 140 करोड़ रुपए के चुनावी बॉन्ड खरीदे थे. इनमें से 115 करोड़ रुपए BJP ने इनकैश कराए. जिस वक्त MEIL को ये प्रोजेक्ट मिला था, उस वक्त कंपनी के खिलाफ लार्सन एंड टुब्रो (एलएंडटी) ने बॉम्बे हाई कोर्ट का रुख किया था. एलएंडटी ने दावा किया कि प्रोजेक्ट के पैकेज के लिए उसकी तकनीकी बोली को MMRDA ने गलत तरीके से खारिज कर दिया था. हालांकि, बाद में अदालत ने एलएंडटी की याचिकाएं खारिज कर दीं थीं.
फिर अक्टूबर 2023 में, MEIL ने 160 करोड़ रुपये के चुनावी बॉन्ड खरीदे, जिनमें से 150 करोड़ रुपये भाजपा ने इनकैश कराए. MEIL की ओर से इस चुनावी बॉन्ड की खरीदारी तब की गई, जब सितंबर के अंत में उसे 648 मिलियन डॉलर की मंगोलिया रिफाइनरी प्रोजेक्ट का कॉन्ट्रैक्ट मिला, जिसे भारत सरकार की सहायता से चलाया जा रहा है.
अक्टूबर 2022 में, MEIL को HPCL राजस्थान रिफाइनरी से लगभग 3,200 करोड़ रुपये के दो कॉन्ट्रैक्ट मिले, जो हिंदुस्तान पेट्रोलियम कॉर्पोरेशन (एचपीसीएल) और राजस्थान सरकार के बीच ज्वाइंट वेंचर है. अक्टूबर 2022 में ही MEIL ने 10 करोड़ रुपये के इलेक्टोरल बॉन्ड खरीदे, जिनमें से 8 करोड़ रुपये के बॉन्ड भाजपा ने इनकैश कराए. HPCL, सेंट्रल पब्लिक सेक्टर वेंडर होने के अलावा, तेल और प्राकृतिक गैस निगम (ONGC) की सहायक कंपनी भी है.
मार्च 2021 में, MEIL को HPCL से मैंगलोर में लगभग 300 करोड़ रुपये का सिविल वर्क का कॉन्ट्रैक्ट मिला था. इसके अगले महीने ही यानी 6 अप्रैल को MEIL ने 38 करोड़ रुपये के चुनावी बॉन्ड खरीदे, जिनमें से 33 करोड़ रुपये भाजपा ने इनकैश कराए. MEIL ने 5 अप्रैल को 40 करोड़ रुपये के बॉन्ड खरीदे थे, जिसे द्रविड़ मुनेत्र कड़गम (डीएमके) ने इनकैश कराया था.
MEIL को जून-जुलाई 2019 के आसपास ONGC से तेल रिग के लिए लगभग 6,000 करोड़ रुपये का कॉन्ट्रैक्ट मिला. इससे ठीक पहले कंपनी ने मई में 60 करोड़ रुपये के चुनावी बॉन्ड खरीदे थे. इनमें से 53 करोड़ रुपये के बॉन्ड भाजपा ने इनकैश कराए. 2019 लोकसभा चुनाव के वक्त यानी अप्रैल 2019 में MEIL ने 65 करोड़ रुपये के बॉन्ड खरीदे थे, जिसे भाजपा ने ही इनकैश कराया था.
MEIL ने राष्ट्रीय राजमार्ग और बुनियादी ढांचा विकास निगम (एनएचआईडीसीएल) से 4,700 करोड़ रुपये वाली जोजिला टनल का कॉन्ट्रैक्ट मिलने के तुरंत बाद अक्टूबर 2020 में 20 करोड़ रुपये के चुनावी बॉन्ड खरीदे थे, हालांकि, इन सभी बॉन्ड को DMK ने इनकैश कराया.
इसी तरह, MEIL को अगस्त-सितंबर 2021 में HPCL राजस्थान रिफाइनरी से करीब 5,000 करोड़ रुपये से अधिक का कॉन्ट्रैक्ट मिला. इसके तुरंत बाद, अक्टूबर 2021 में MEIL ने 100 करोड़ रुपये के चुनावी बॉन्ड खरीदे, जिसे भारत राष्ट्र समिति (BRS) ने इनकैश कराया.
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