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Chhath Puja 2024: दुनिया के ताकतवर देशों में धूमधाम से मना छठ का महापर्व, तस्वीरें ऐसी कि देखकर सीना हो जाएगा चौड़ा

हमारे देश की संस्कृति ही ऐसी है कि कोई भी शख्स चाहे जहां भी रहे वो अपनी परंपरा को जरुर मानता है. आज छठ का महापर्व उषा अर्घ्य के साथ ही संपन्न हुआ. छठी मैया के गीत ना केवल भारत में बल्कि विदेशों में भी सुनने को मिले. दुनियाभर के ताकतवर देशों में भी छठ का महापर्व मनाया गया. जिसकी तस्वीरें सोशल मीडिया पर छाई हुई हैं.

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Edited By: Reepu Kumari
Chhath Puja 2024 in US
Courtesy: Pinteres

Chhath Puja 2024: छठ पूजा, जोकि सूर्य उपासना और छठी मइया की आराधना का पर्व है, इस वर्ष भारत के साथ-साथ विदेशों में भी उत्साह और आस्था के साथ मनाया जा रहा है. यह पर्व विशेषकर बिहार, झारखंड, पूर्वी उत्तर प्रदेश और नेपाल में मुख्य रूप से मनाया जाता है, लेकिन इसकी लोकप्रियता ने इसे पूरे भारत और विदेशों तक पहुंचा दिया है.

छठ पूजा, जो कार्तिक मास की शुक्ल पक्ष की षष्ठी तिथि को मनाई जाती है, सूर्य भगवान की पूजा और उनकी कृपा के प्रति आभार व्यक्त करने का अवसर प्रदान करती है. इस महापर्व के दौरान लोग उपवास रखते हैं, नदी-तालाबों में स्नान करते हैं, और डूबते और उगते सूर्य को अर्घ्य देकर अपनी श्रद्धा प्रकट करते हैं. विशेषकर महिलाएं संतान सुख, परिवार की खुशहाली और समृद्धि के लिए कठिन तपस्या करती हैं और कई नियमों का पालन करती हैं.

विदेशों में भी गूंज रही छठ की महिमा

प्रवासी भारतीयों ने छठ पर्व को विदेशों में भी बड़े ही श्रद्धा भाव से मनाना शुरू कर दिया है. अमेरिका, न्यूयॉर्क, लंदन, दुबई, मॉरीशस, कनाडा, ऑस्ट्रेलिया और अन्य देशों में बसे भारतीय समुदाय इस पर्व को पारंपरिक विधियों से हर साल यह महापर्व मनाते हैं. इस साल भी इसकी धमक देखने को मिली. विदेशी धरती पर गंगा-यमुना जैसे पवित्र नदियों का अभाव होने पर भी लोग कृत्रिम तालाबों, नदियों के किनारों या घरों के आसपास की छोटी जलाशयों में पूजा कर रहे हैं.

छठ महापर्व के मौके पर भारतीय दूतावास और कई सांस्कृतिक संगठनों द्वारा भी प्रवासी भारतीयों के लिए विशेष प्रबंध किए गए हैं. विभिन्न सांस्कृतिक कार्यक्रमों और छठ पूजा के आयोजन के जरिए लोग अपने सांस्कृतिक और धार्मिक मूल्यों से जुड़े रहते हैं. ताकतवर देश अमेरिका में भी गजब का उत्साह देखने को मिला. 

7 से हुए 700

वर्जीनिया में, इस उत्सव ने एक विशेष आकर्षण प्राप्त कर लिया. स्थानीय भारतीय-अमेरिकी परिवार एक साथ आए, उन्होंने पार्क और काउंटी अधिकारियों के साथ मिलकर अपने अनुष्ठानों के लिए नदी के किनारे एक सुंदर स्थान सुरक्षित किया. यह सभा अपनी मामूली शुरुआत से बहुत आगे बढ़ चुकी है; पहले कार्यक्रम में केवल 7-8 परिवारों ने भाग लिया था, लेकिन अब, 700 से अधिक लोग त्यौहार मनाने के लिए नदी के किनारे एकत्र होते हैं.

छठ पूजा का महत्व

छठ महापर्व न केवल धार्मिक दृष्टि से महत्वपूर्ण है, बल्कि यह एकता, अनुशासन और प्राकृतिक शक्ति की आराधना का प्रतीक भी है. प्रकृति के प्रति आभार व्यक्त करने का यह अनूठा पर्व, जीवन में संतुलन, शांति और समृद्धि का संदेश देता है. 

विशेष आस्थाओं और पौराणिकता से भरा छठ

छठ पूजा को लेकर पौराणिक मान्यताएं और किवदंतियां हैं कि इसे महाभारत काल से लेकर त्रेतायुग तक से जोड़ा जाता है. माना जाता है कि भगवान राम और सीता माता ने अयोध्या वापसी के बाद सूर्य उपासना की थी और इसके बाद से यह परंपरा प्रारंभ हुई.

छठ महापर्व का चार दिवसीय आयोजन

इस पर्व में चार दिनों तक चलने वाले अनुष्ठानों की शुरुआत होती है:
1. पहला दिन (नहाय-खाय): इस दिन व्रती गंगा या किसी पवित्र नदी में स्नान कर विशेष भोजन ग्रहण करते हैं.
2. दूसरा दिन (खरना): इस दिन का उपवास सूर्यास्त तक रखा जाता है और शाम को प्रसाद के रूप में खीर और रोटी का भोजन किया जाता है.
3. तीसरा दिन (संध्या अर्घ्य): डूबते सूर्य को अर्घ्य देकर परिवार की खुशहाली की कामना की जाती है.
4. चौथा दिन (उषा अर्घ्य): उगते सूर्य को अर्घ्य देकर व्रत समाप्त किया जाता है.

भारत के साथ विदेशों में भी इस वर्ष छठ महापर्व की रौनक अपने चरम पर है. लाखों लोग देश-विदेश में इस पवित्र पर्व को उत्साह, श्रद्धा और भक्ति के साथ इस मनाते हैं.